Saturday, November 27, 2010

दिल्ली हाईकोर्ट ने अरुन्धती और सैयद अली साह गिलानी के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने का आदेश दिया


दिल्ली हाई कोर्ट ने आज दिल्ली पुलिस के टालमटोल के जवाब को खारिज करते हुए आदेश दिया कि सुश्री अरुंधती राय और अलगाववादी कश्मीरी सैयद अली साह गिलानी के खिलाफ एफआईआर दर्ज की जाए।

आज शनिवार को ही दिल्ली पुलिस ने अदालत कहा कि अरुंधती और गिलानी के खिलाफ कोई मामला नहीं बनता लेकिन हाईकोर्ट पुलिस की इस राय को दरकिनार कर दिया और अरुंधती के खिलाफ देशद्रोहपूर्ण भाषण के मामले में एफआईआर का केस दर्ज करने का आदेश दिया.

इससे पहले अदालत ने दिल्ली पुलिस से पूछा था कि अरुंधती और गिलानी के खिलाफ देशद्रोहपूर्ण भाषण की जो शिकायत आई थी उस मामले में कोई कार्रवाई क्यों नहीं की गई।

इसके जवाब में शनिवार को दिल्ली पुलिस ने माना कि अरुंधती राय और गिलानी के खिलाफ शिकायत तो आई थी, मगर उसके आधार पर एफआईआर लायक मामला नहीं बनता है।

1 comment:

Anonymous said...

आज नभाटा की इस न्यूज पर निम्न कमेन्ट मिले हैं

puneet, uae का कहना है :
27 Nov, 2010 06:37 PM
बहुत बढ़िया.चलो बेशर्म सरकार को देखकर कोर्ट तो जागा. गोली मारो दोनो कुत्तों को.

prem, gzb का कहना है :
27 Nov, 2010 05:28 PM
कैसे बनेगा मामला? कॉंग्रेस की सरकार है तुम्हे कॉंग्रेस के तलवे चाटने हे और कॉंग्रेस को अपना वोट बैंक संभालना है... कमाल है पुलिस को भी कोर्ट को ही क़ानून सिखाना पड़ रहा है...

common man, chnadigarh का कहना है :
27 Nov, 2010 05:13 PM
अरे भाई ये मनमोहनी सरकार मे इतना दम होता तो ये अलगाववादी सब अंदर होते. इस भ्रष्टाचारी सरकार से देश हित मे कुछ भी आशा करना बेवकूफी है. ये सरकार अलगाववादियो से मिली हुई है. कोर्ट का डंडा है तो एफ.आइ.आर. दर्ज करना ही होगा लेकिन ये सरकार गिलानी @ कंपनी से हाथ जोड़ कर कहेगी कि मेरे आका ,माफ़ कर दो. हमने तो बहूत टाला लेकिन कोर्ट का ऑर्डर तो मानना ही पड़ेगा. फिर भी एफ.आइ.आर. दर्ज करने के बाद कार्यवाई कुछ भी नही करेंगे.

raj, hyd. का कहना है :
27 Nov, 2010 05:08 PM
जब पुलिस इन देशद्रोही नेताओं को मुक़दमा चलाने के लिए तैयार नही है तब अदालत के कहने से भी वह मन से कोई कार्य नही करेगी ! अदालत मे पुलिस की कमजोर गवाही से ये देशद्रोही भी छूट जाएँगे ! तब भी क्या सरकार की नाक नही कटेगी ?

ganesh, bikaner का कहना है :
27 Nov, 2010 05:04 PM
जो अलगाववाद,और देशद्रोही की बात करे, उनके खिलाफ मुक़दमा दर्ज़ करने के लिए अदालत को कहना पड़े, इससे ज्यादा शर्म की बात हमारे लिए हो ही नही सकती, ऊपर से तुर्रा यह कि हम आतंकवाद से डट कर लड़ेंगे, क्यों जगहॅसाई कराने पर हम तुले हैं

Kaisar Hayat, Al Khobar, KSA का कहना है :
27 Nov, 2010 04:42 PM
खुलेआम देश द्रोह करने वालों के लिए कोई मामला नही बनता और भोले भले आम आदमी को सड़क पर चलते हुए भी इन पुलिस वालों से डर लगता है के कहीं कोई केस ना बना दें.

chunnu, Delhi का कहना है :
27 Nov, 2010 04:12 PM
अरे भाई सबकुछ आप लोगो के हाथ मे है जिसे चाहे बनाओ ओर जिसे चाहे मत बनाओ आप चाहे तो पकौड़े बेचने वाले आदमी पर ड्रग्स बेचने का केस बना सकते हो ओर हत्या करने वाले के खिलाफ कोई धारा ही नही मिलती आपको. सोनिया ओर शीला का राज है ऐश करो शेरो ऐश